
खो जाया करते थे जिसमे हम बैठे बैठे
न होती थी तकरार कभी न कभी लड़ाई
प्यार की अपनी एक दुनिया थी सजाई
कब रात दिन में,दिन रात में ढलते थे
खामोशियों में हम तुझे सुना करते थे
कुछ अलग दुनिया हो चली थी अपनी
सपने हकीक़त में तब्दील हो रहे थे
इश्क दीवानगी से जूनून हो चला था
वर्क वर्क पे तेरा नाम हमने खुदा लिखा था !!
27 comments:
Cute lines....
thnks ..:)
कब रात दिन में,दिन रात में ढलते थे
खामोशियों में हम तुझे सुना करते थे
बेहद खूबसूरत लिखी हैं स्वाति जी।
सादर
बहुत सुन्दर....
प्यार भरी रचना....
अनु
nice one....:)
@yashwant ji ..thnk u very much sir!! :)
@anu ji shukriya ..:)
@swati ...
thnkss :)
कल 03/08/2012 को आपकी यह बेहतरीन पोस्ट http://nayi-purani-halchal.blogspot.in पर लिंक की जा रही हैं.आपके सुझावों का स्वागत है .
धन्यवाद!
@yashwant ji ....
thank u very much sir 4 considering my post worth for ur blogspot!!! :)
स्मृतियों का सुंदर ताज..
खूबसूरत एहसास
~बेखुदी भी जब साथ छोड़ जाती है...बीते लम्हे याद...बहुत याद आते हैं...
~ बहुत सुंदर रचना !
वाह ...बेहतरीन
@arun ji....
सर बस स्मिरितियाँ ही होती है जो दिल के सदा करीब होती है !!
thnkss!!
@sangeeta ji
thnkss ma'am!!
@anita ji..
beete lamhon ki dastaan bahut purani hain
har lamhe me chhupi apni alag kahani hain!!
thnkss ma'am!!
@sada ji..
bahut bahut shukriya !!
बहुत खूब...
bahut sundar
@sanjay ji ..
shukriya sir!!
@prakash ji ..
thnkss !!
beautiful lines
beautiful lines
sundar...!!!!!
@ramakant ji...
thnk u !!
@saras ji...
shukriya !!
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